दिल्ली में विधानसभा चुनावों की तारीखों के ऐलान के बाद सियासी हलचल तेज हो गई है। राजनीतिक दलों के बीच बयानबाज़ी और पोस्टर पॉलिटिक्स की होड़ मची हुई है। 5 फरवरी को होने वाले मतदान से पहले भाजपा और आम आदमी पार्टी (AAP) एक-दूसरे पर जमकर हमले कर रहे हैं। शनिवार को भाजपा नेता प्रवेश वर्मा और AAP के बीच हुए विवाद ने दिल्ली की राजनीति को और गरमा दिया।
प्रवेश वर्मा का अनोखा विरोध

भाजपा सांसद प्रवेश वर्मा ने अरविंद केजरीवाल के खिलाफ अनोखा प्रदर्शन किया। वे ITO के यमुना घाट पहुंचे और केजरीवाल का एक कटआउट यमुना में डुबो दिया। कटआउट पर लिखा था, “मैं यमुना साफ नहीं कर पाया, माफ करना।” प्रवेश वर्मा ने कहा कि केजरीवाल ने यमुना सफाई का वादा किया था, जो पूरा नहीं हुआ। उन्होंने यह भी ऐलान किया कि भाजपा की सरकार बनते ही दिल्ली में साबरमती रिवरफ्रंट की तरह यमुना रिवरफ्रंट बनाया जाएगा।
पोस्टर पॉलिटिक्स चरम पर
भाजपा और AAP दोनों ने सोशल मीडिया पर एक-दूसरे के खिलाफ पोस्टर जारी किए। भाजपा ने केजरीवाल को “महाठग” और “गुंडों और अपराधियों से भरी गैंग” का नेता बताया। वहीं, AAP ने पलटवार करते हुए भाजपा को “गाली-गलौच पार्टी” करार दिया और लिखा, “गाली-गलौच पार्टी का 5 फरवरी को बेग पैक और 8 फरवरी को गो बैक।”
AAP ने एक अन्य पोस्टर में भाजपा नेताओं को “कायराना हमले करवाने वाले” बताया। दूसरी ओर, भाजपा ने केजरीवाल पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाते हुए उन्हें “कटर बेईमान” कहा।
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आरोप-प्रत्यारोप की होड़
भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा कि AAP ने दिल्ली को गंदगी के ढेर में बदल दिया है और केजरीवाल सरकार भ्रष्टाचार के सारे रिकॉर्ड तोड़ चुकी है। वहीं, केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने अरविंद केजरीवाल को “महिला विरोधी” और “कट्टर बेईमान” करार दिया।
AAP के नेता संजय सिंह ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि एक अरविंद केजरीवाल से लड़ने के लिए भाजपा के सभी सांसद और मंत्री दिल्ली आ गए हैं, लेकिन इस बार भी जीत AAP की ही होगी।
चुनाव आयोग का बयान
मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने राजनीतिक दलों को भड़काऊ और बांटने वाली राजनीति से बचने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि फेक नैरेटिव और फेक इनफॉर्मेशन लोकतंत्र के लिए बड़ा खतरा है।
दिल्ली के मुद्दे
चुनाव प्रचार में यमुना की सफाई, सीवर लाइन की मरम्मत, भ्रष्टाचार और महिलाओं की सुरक्षा जैसे मुद्दे छाए हुए हैं। अरविंद केजरीवाल ने दावा किया कि अगले 5 सालों में दिल्ली के सभी इलाकों की सीवर लाइनें दुरुस्त की जाएंगी। वहीं, भाजपा ने दिल्ली में बदलाव लाने का वादा किया है।
नतीजों पर सबकी निगाहें
दिल्ली विधानसभा के लिए 5 फरवरी को मतदान होगा और नतीजे 8 फरवरी को घोषित किए जाएंगे। सभी राजनीतिक दल अपनी-अपनी रणनीति के साथ मैदान में हैं। दिल्ली के मतदाता इस बार किसे चुनते हैं, यह देखना दिलचस्प होगा।
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